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चीन में ह्यूमन मेटान्यूमोवायरस (HMPV) के मामलों में तेजी, कई क्षेत्रों में इमरजेंसी घोषित
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HMPV एक सांस संबंधी वायरस है, जो बच्चों, बुजुर्गों और कमजोर इम्यूनिटी वाले लोगों को प्रभावित करता है
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भारत सरकार ने श्वसन रोगों पर करीबी निगरानी और एहतियात बरतने की सलाह दी
2019 में कोरोना वायरस ने पूरी दुनिया को हिला कर रख दिया था, और अब एक बार फिर चीन से एक नए वायरस की खबरें चिंता का कारण बन रही हैं। चीन में ह्यूमन मेटान्यूमोवायरस (HMPV) के मामलों में तेज वृद्धि हो रही है। यह वायरस खासतौर पर छोटे बच्चों, बुजुर्गों और कमजोर इम्यूनिटी वाले लोगों को प्रभावित करता है।
वायरस और इसके लक्षण
एचएमपीवी पहली बार 2001 में पहचाना गया था और यह मुख्य रूप से श्वसन तंत्र को प्रभावित करता है। इसके लक्षण सामान्य फ्लू और कोरोना वायरस जैसे ही हैं, जिनमें खांसी, बुखार, नाक बंद होना और सांस लेने में परेशानी शामिल हैं। गंभीर मामलों में यह ब्रोंकाइटिस या निमोनिया का कारण बन सकता है। संक्रमित व्यक्ति 3-6 दिनों तक बीमार रहता है। वायरस खांसने, छींकने या सीधे संपर्क के माध्यम से फैलता है।
हाल ही में, जापान में इस वायरस के 7.18 लाख मामले सामने आ चुके हैं, जबकि 15 दिसंबर को समाप्त सप्ताह में 94,000 से अधिक नए मामले दर्ज किए गए। चीन में कुल मामलों की आधिकारिक जानकारी उपलब्ध नहीं है, लेकिन सोशल मीडिया पर वीडियो और रिपोर्ट्स के अनुसार, कुछ क्षेत्रों में इमरजेंसी घोषित कर दी गई है।
भारत में अभी तक इस वायरस का कोई मामला सामने नहीं आया है, लेकिन सरकार सतर्क हो गई है। राष्ट्रीय रोग नियंत्रण केंद्र (NCDC) ने श्वसन रोगों और मौसमी बीमारियों पर निगरानी बढ़ा दी है। सरकारी सूत्रों के अनुसार, जैसे ही कोई पुख्ता जानकारी मिलेगी, जरूरी कदम उठाए जाएंगे।
वायरस से बचाव के उपाय
नियमित रूप से साबुन और पानी से हाथ धोएं।
आंख, नाक और मुंह को गंदे हाथों से छूने से बचें।
संक्रमित व्यक्ति से उचित दूरी बनाए रखें।
लक्षण महसूस होने पर खुद को आइसोलेट करें।
छींकते या खांसते समय मुंह और नाक ढकें।
बीमार होने पर घर पर आराम करें और दूसरों से संपर्क कम करें।
विशेषज्ञों का मानना है कि सावधानी ही इस वायरस से बचाव का सबसे अच्छा तरीका है।